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कोरोना लॉकडाउन से हुआ भारतीय अर्थव्यवस्था को करीब 8 लाख करोड़ रुपये का नुकसान

पीएम नरेंद्र मोदी ने कोरोना वायरस को फैलने से रोकने के लिए 24 मार्च को 21 दिन के देशव्यापी लॉकडाउन की घोषणा की थी. यह उस दिन आधी रात यानी 25 मार्च से लागू हो गया था. यह लॉकडाउन भारत की इकोनॉमी के लिए बड़ा झटका साबित हुआ. इससे इकोनॉमी को करीब 8 लाख करोड़ रुपये का नुकसान हो चुका है.

पीएम मोदी के ऐलान के बाद देश में 25 मार्च से लागू हुआ था लॉकडाउन इससे इकोनॉमी को हर दिन करीब 35 हजार करोड़ का नुकसान हुआ देश की जीडीपी को इससे करीब 8 लाख करोड़ का नुकसान हो चुका है

देश में कोरोना से जंग के लिए लॉकडाउन का पहला चरण आज यानी 14 अप्रैल को खत्म हो रहा है. पीएम नरेंद्र मोदी ने इसे अब आगे बढ़ाकर 3 मई तक करने का ऐलान किया है. वैसे यह लॉकडाउन भारत की इकोनॉमी के लिए बड़ा झटका साबित हो रहा है. पहले चरण के लॉकडाउन से ही इकोनॉमी को करीब 8 लाख करोड़ रुपये का नुकसान हो चुका है.

अर्थव्यवस्था को बड़ा झटका

गौरतलब है कि पीएम नरेंद्र मोदी ने कोरोना वायरस को फैलने से रोकने के लिए 24 मार्च को 21 दिन के देशव्यापी लॉकडाउन की घोषणा की थी. यह उस दिन आधी रात यानी 25 मार्च से लागू हो गया था, जिसकी अवधि मंगलवार यानी आज 14 अप्रैल को खत्म हो रही है. उम्मीद जताई जा रही है कि आज प्रधानमंत्री दो सप्ताह के लिए लॉकडाउन के दूसरे चरण का ऐलान कर सकते हैं. दुनिया के इस सबसे बड़े लॉकडाउन से देश की इकोनॉमी को 7-8 लाख करोड़ रुपये का झटका लगने का अनुमान है.

इस लॉकडाउन के दौरान अधिकतर कंपनियां, उद्योग—धंधे बंद रहे, उड़ान सेवाएं निलंबित रहीं और ट्रेनों के पहिए थमे रहे. वहीं, लोगों और वाहनों की आवाजाही भी बंद रही. इस लॉकडाउन की वजह से भारत की 70 फीसदी आर्थिक गतिविधियां थम गईं.

जीडीपी ग्रोथ को लगेगा पलीता

लॉकडाउन के दौरान केवल जरूरी सामान एवं कृषि, खनन, यूटिलिटी सेवाओं और कुछ वित्तीय एवं आइटी सेवाओं को चलाने की ही इजाजत दी गई थी. भारतीय अर्थव्यवस्था पहले से ही सुस्त थी और ऐसे में आई कोरोना महामारी ने इसे बिल्कुल पस्त कर दिया है. इस वजह से तमाम देसी—विदेशी रेटिंग एजेंसियों ने इस वित्त वर्ष में जीडीपी ग्रोथ के अनुमान को घटाकर 1.5 से 2.5 फीसदी के काफी निचले स्तर पर कर दिया है.

हर दिन 35 हजार करोड़ का नुकसान!

न्यूज एजेंसी पीटीआई के अनुसार, एक रेटिंग एजेंसी एक्यूट रेटिंग्स ऐंड रिसर्च लिमिटेड ने इससे पहले अनुमान जताया था कि लॉकडाउन की वजह से भारतीय अर्थव्यवस्था को हर दिन करीब 35,000 करोड़ रुपये का नुकसान होगा. इस तरह देखा जाए तो 21 दिन के पूरे लॉकडाउन की अवधि में जीडीपी को 7 से 8 लाख करोड़ रुपये का नुकसान हुआ. इस रिपोर्ट में कहा गया है कि ‘देशभर में पूरी तरह लॉकडाउन से सात से आठ लाख करोड़ रुपये का झटका लग सकता है.’