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वरुण सिंह का आज सैन्य सम्मान के साथ होगा अंतिम संस्कार, परिजनों को 1 करोड़ देगी शिवराज सरकार

8 दिसंबर को कुन्नूर हेलिकॉप्टर हादसे में सीडीएस जनरल विपिन रावत और उनकी पत्नी समेत 13 लोगों का निधन हो गया। उसी हादसे में वरुण सिंह बचे और उस गमगीन माहौल में उम्मीद की एक किरण जगाई थी। वह 7 दिन तक अस्पताल में रहे, डॉक्टरों ने दिन रात एक कर दिए लेकिन इस जांबाज़ को बचाया नहीं जा सका।

: तमिलनाडु में कुन्नूर के पास हेलीकॉप्टर हादसे का शिकार हुए वायु सेना के ग्रुप कैप्टन वरुण सिंह का अंतिम संस्कार आज पूरे सैनिक सम्मान के साथ भोपाल में किया जाएगा। 8 दिसंबर को कुन्नूर हेलिकॉप्टर हादसे में सीडीएस जनरल और उनकी पत्नी समेत 13 लोगों का निधन हो गया था। उसी हादसे में वरुण सिंह बचे और उस गमगीन माहौल में उम्मीद की एक किरण जगाई। बुरी तरह घायल वरुण सिंह को पहले वेलिंगटन और उसके बाद बेंगलुरु कमांड अस्पताल में शिफ्ट किया गया।

7 दिन तक लड़े….फिर सांसे थम गईं

वरुण सिंह 7 दिन तक अस्पताल में रहे, डॉक्टरों ने दिन रात एक कर दिए लेकिन इस जांबाज़ को बचाया नहीं जा सका। 15 दिसंबर को दोपहर 12 बजकर 40 मिनट पर एयरफोर्स ने ये दुखभरी खबर देश के साथ साझा की। वरुण सिंह के पार्थिव शरीर को बेंगलूरु से भोपाल लाया गया है जहां आज उनका अंतिम संस्कार किया जाएगा। वरुण सिंह के घर गमगीन मौहाल है। उनकी मां उमा सिंह ने पहले बहू गीतांजली को दिलासा दिया फिर बेटे की तस्वीर को छाती से लगा लिया। एक जांबाज़ शहीद को विदा कैसे किया जाता है ये वह मां जानती है जिसने खुद को संभाला और फिर अपनी बहू को भी ताकत दी।

परिजनों को 1 करोड़ देगी शिवराज सरकार

साल 2002 में वरुण सिंह का सलेक्शन NDA में हुआ था। 2017 मे वह विंग कमांडर बने। तेजस में खराबी आने के बावजूद उन्होंने उसकी सफल लैंडिग करवाई और इसी साल 2021 में वरुण सिंह शौर्य चक्र से सम्मानित हुए थे। इसी शौर्य चक्र की पार्टी देने के लिए वरुण सिंह भोपाल आने वाले थे। यहां वो दिवाली पर भी आए थे, पड़ोसियों, बच्चों से मिले और जब विदा हुए तो वादा करके गए थे कि जल्द लौटेंगे लेकिन नियति को कुछ और ही मंज़ूर था। जब वरुण का पार्थिव शरीर भोपाल में सिटी कॉलोनी में पहुंचा तो हर आंख से आंसू निकलने लगे। कॉलोनी में वरुण सिंह को श्रद्धांजलि देता हुआ बड़ा सा पोस्टर लगा था। इससे पहले जब ग्रुप कैप्टन वरुण का पार्थिव शरीर भोपाल पहुंचा तो मानो पूरा शहर शहीद के आखिरी दर्शनों के लिए उमड़ पड़ा।