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21 हजार बालिकाएं करेंगी महिषासुर मर्दिनी स्त्रोत पाठ, त्रिशूल युद्ध से दिखाएंगी शौर्य

सार

विस्तार

इंदौर के लालबाग में 24 नवंबर से 2 दिसंबर तक भव्य आयोजन की तैयारी की जा रही है। यह आयोजन एक अद्वितीय और भव्य कार्यक्रम का उदाहरण है, जो भारतीय संस्कृति और आध्यात्मिकता को बढ़ावा देने के लिए आयोजित किया जा रहा है।
हिन्दू आध्यात्मिक एवं सेवा फाउंडेशन के राष्ट्रीय संयोजक गुणवंत सिंह कोठारी, इंदौर चेयरमैन विनोद अग्रवाल, इंदौर अध्यक्ष राधेश्याम शर्मा ने बताया कि भारत की पुरातन संस्कृति, संस्कार और अध्यात्म को वर्तमान पीढ़ी से अवगत कराने के लिए लाल बाग में पांच दिवसीय दिव्य आयोजन इंदौर में होने जा रहा है। युवा, बालिकाओं और महिलाओं को लेकर इस आयोजन में अलग-अलग विषयवार जानकारी से अवगत कराने की तैयारी की जा रही है। 1 दिसंबर को 5000 गर्भवती एवं 21000 महिलाओं की उपस्थिति के बीच गर्भ संस्कार दिव्य संतान प्रकल्प के वैज्ञानिक स्वरूप एवं संस्कार प्रकृति को सबके बीच में विस्तार से रखा जाएगा इसका उद्देश्य हमारे आने वाली पीढ़ी को स्वस्थ संस्कारी और जिम्मेदार एवं नव राष्ट्र निर्माण के लिए आदर्श नागरिक का सृजन करना है।
क्या होगा खास
24 नवंबर को महिषासुर मर्दिनी सामूहिक पाठ 21000 कन्याओं एवं मातृ शक्तियों के द्वारा किया जाएगा।
28 नवंबर को भव्य नारी शौर्य यात्रा का आयोजन किया जाएगा, इसमें विभिन्न संस्थाओं, अखाड़े जुड़ी 5000 बालिकाए सहभागिता करेंगी, शाम को लालबाग में संत समागम कार्यक्रम होगा।
29 नवंबर को आचार्य वंदन कार्यक्रम के साथ होगी जिसमें 100 विद्यालयों के 500 शिक्षक एवं विद्यार्थी पद पूजन करेंगे दोपहर में महिला समूह स्त्रोत पाठ व शाम को कॉलेज के बैंड के द्वारा राष्ट्रभक्ति गीतों की प्रस्तुति दी जाएगी।
1 दिसंबर को विशेष रूप से गर्भ संस्कार, मातृ पितृ वंदन एवं मातृत्व सम्मान कार्यक्रम का आयोजन किया जा रहा है जिसमें 5000 गर्भवती, 21000महिलाओं को संतों के द्वारा आशीर्वचन दिए जाएंगे इसके साथ ही गर्भधारण संस्कार को विषय विशेषज्ञ जामनगर से करिश्मा नरवानी, सूरत से हिना बहन, डॉ अनिल गर्ग इंदौर, डॉ जगदीश जोशी जानकारी प्रदान करेंगे।
2 दिसंबर को विभिन्न समाजसेवी संस्थाओं मठ मंदिरों के संचालक व जाति बिरादरी के प्रमुख लोगों की उपस्थिति में धर्म संस्कार और संस्कृति पर विशेष कार्यक्रम रखा गया है।