देशप्रकाश त्रिवेदी की कलम से

सुमित्रा महाजन राष्ट्रपति और हुकुमदेव नारायण यादव उप राष्ट्रपति बन सकते है।

नई दिल्ली। बाबरी ढांचा गिराए जाने की साजिश में लालकृष्ण आडवाणी और डॉ. मुरली मनोहर जोशी के खिलाफ प्रकरण चलने की दशा में अब राष्ट्रपति चुनाव को लेकर संघ और भाजपा में राष्ट्रपति पद को लेकर लोकसभा अध्यक्ष श्री मति सुमित्रा महाजन और उप राष्ट्रपति पद के लिए बिहार के ओबीसी नेता सांसद हुकुमदेव नारायण यादव के नाम पर सहमति बन सकती है।
सुप्रीम कोर्ट ने सीबीआई की मांग पर आडवाणी और जोशी सहित दस नेताओं पर साजिश के तहत मुकदमा चलाने का आदेश दिया है।
इस घटनाक्रम के पूर्व आडवाणी और जोशी के नाम पर गहन विचार विमर्श हुआ हैं। खबरे यह भी आई थी कि प्रधानमंत्री मोदी जोशी के नाम पर सहमत है।
सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद अब भले ही आडवाणी और जोशी के लिए कानूनी अड़चन न हो पर राष्ट्रपति के पद पर बैठना गंभीर नैतिकता का मामला है।
मोदी के निकटवर्ती सूत्र बताते रहे है कि वे सरकार में आने के बाद से ही सुमित्रा महाजन को लेकर संजीदा थे,लिहाजा उन्हें स्पीकर बनाकर उनकी स्वीकार्यता बढ़ाने का प्रयास किया गया। महाजन भी इस उद्देश्य में सफल रही है। उनकी सौम्यता,विन्रमता,समझ, और निष्पक्षता संदेह से परे रही है। उनका सार्वजनिक जीवन भी बेदाग है। चितपावन ब्राह्मण होने के कारण वे संघ में भी स्वीकार्य है।
हुकुमदेव नारायण यादव मोदी की पसंद है। ओबीसी नेता को तव्वजो देकर मिशन 2019 में थोक ओबीसी वोट हासिल किया जा सकता है।
दिल्ली के सत्ता साकेत में थावरचंद गहलोत,वैंकया नायडू,सत्यनारायण जटिया, ओ.राजगोपाल, जैसे नाम भी चर्चा में है।
बहरहाल नैतिकता के तकाजे ने आडवाणी,जोशी की संभावनाएं खत्म कर दी है।
दस साल कांग्रेस की सरकार में पेंडिंग रहे इस मामले को लेकर मोदी सरकार में सीबीआई की सक्रियता और मामला चलाने की रुचि को लेकर भी दिल्ली में 11 अशोक रोड से लेकर झंडेवालान तक खूब चर्चा हैं।

प्रकाश त्रिवेदी@samacharline