भोपालमध्य प्रदेश

मेट्रो या सिटी बस के लिए 500 मीटर से ज्यादा नहीं चलना पड़ेगा पैदल

भोपाल। भोपाल और इंदौर मेट्रो में ज्यादा से ज्यादा पैसेंजर लाने और शहरवासियों को सुविधा देने के लिए इन शहरों में चलने वाली सिटी बसें फीडर का काम करेगी। शहर के ट्रांसपोर्ट को एक-दूसरे से जोड़ने के लिए नगरीय विकास विभाग जल्द ही कंसल्टेंट कंपनी नियुक्त करने वाला है, जो इसे लेकर सलाह देगी।

मप्र मेट्रो रेल कॉरपोरेशन केंद्र सरकार की कंपनी अरबन मास ट्रांजिट कंपनी को सलाहकार नियुक्त कर सकती है। यह कंपनी शहरवासियों के लिए मेट्रो की एक्सेसबिलिटी और मोबिलिटी प्लानिंग को लेकर एक सर्वे करेगी। इस सर्वे में कंपनी यह बताएगी कि मेट्रो के साथ-साथ शहर के पब्लिक ट्रांसपोर्ट में लगी बसों की प्लानिंग इस तरह की जाए कि शहरवासियों को बस या मेट्रो पकड़ने के लिए 500 मीटर से ज्यादा पैदल न चलना पड़े। यह सर्वे मेट्रो रूट के साथ-साथ पूरे शहर में होगा।

सार्वजनिक परिवहन को सस्ता बनाने भी करेगी काम

अरबन मास ट्रांजिट कंपनी मेट्रो को निजी वाहनों से ज्यादा सस्ता बनाने के लिए भी काम करेगी। अधिकारियों के मुताबिक ट्रांजिट ओरिएंटेड डेवलमेंट पॉलिसी लागू होने के बाद मेट्रो और बसों को शहरवासी तभी प्राथमिकता देंगे, जब यह निजी वाहनों से सस्ती होंगी और समय कम लेंगी। कंपनी के अधिकारियों की मेट्रो रेल कॉरपोरेशन के अधिकारियों के साथ एक दौर की बातचीत हो चुकी है। पिछले दिनों कंपनी ने इसे लेकर एक प्रेजेंटेशन भी दिया था।

अंडरग्राउंड मेट्रो के लिए फाइनेंस करेगा न्यू डेवलपमेंट बैंक

इंदौर में मेट्रो के अंडरग्राउंड रूट के लिए न्यू डेवलपमेंट बैंक फाइनेंस करेगा। इंदौर में राजवाड़ा के आसपास के इलाके में मेट्रो रूट अंडरग्राउंड रहेगा, इस पैकेज के लिए न्यू डेवपलमेंट बैंक पैसा देगा। बैंक के अधिकारियों ने इंदौर का दौरा कर इस पर रजामंदी दे दी है। वहीं भोपाल मेट्रो के लिए यूरोपियन बैंक की टीम दो से तीन माह में आकर सर्वे करेगी।

जल्द होगा फैसला

शहरवासियों के लिए मेट्रो सुलभ बनाने केंद्र सरकार की अरबन मास ट्रांजिट कंपनी ने एक प्रजेंटेशन दिया था। मेट्रो कंपनी को इसे लेकर एक कंसल्टेंट कंपनी नियुक्त करना है, इस पर जल्द ही फैसला ले लिया जाएगा। 

– स्वतंत्र कुमार सिंह, अपर आयुक्त, नगरीय विकास विभाग