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महाराष्ट्र में कोरोना पर सियासी भिड़ंत के बीच शिवसेना-एनसीपी-कांग्रेस की बैठक शुरू

महाराष्ट्र में कोरोना के बढ़ते मामलों के बीच मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने सहयोगी पार्टियों की बैठक बुलाई है. कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने कल कहा था कि हम महाराष्ट्र में डिसिजन मेकर नहीं हैं. इस बयान के बाद सीएम उद्धव की ओर से आनन-फानन में सहयोगियों की बैठक बुलाई गई है.

उद्धव ने शिवसेना-कांग्रेस-एनसीपी की बुलाई बैठक शिवसेना ने मुखपत्र में कहा- महाराष्ट्र में सरकार स्थिर

महाराष्ट्र में कोरोना के बढ़ते मामलों के बीच मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने सहयोगी पार्टियों की बैठक बुलाई है. इस बैठक में शामिल होने के लिए शिवसेना, राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी और कांग्रेस के नेता पहुंच गए हैं. बैठक वर्षा स्थित मुख्यमंत्री आवास में हो रही है.

दरअसल, कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने कल कहा था कि हम महाराष्ट्र में डिसिजन मेकर नहीं हैं. इस बयान के बाद महाराष्ट्र की राजनीति में भूचाल आ गया. अब सीएम उद्धव की ओर से आनन-फानन में सहयोगियों की बैठक बुलाई गई है.

हालांकि, शिवसेना के मुखपत्र सामना ने बुधवार को अपने संपादकीय में लिखा कि महाराष्ट्र में सरकार स्थिर है. शिवसेना का बयान उस समय आया है, जब एनसीपी चीफ शरद पवार ने पहले राज्यपाल बीएस कोश्यारी और फिर सीएम उद्धव ठाकरे से मुलाकात की थी. इसके बाद उद्धव सरकार पर संकट के बादल मंडराने के कयास लगाए जा रहे थे.

संपादकीय में कहा गया है कि शरद पवार और संजय राउत ने राज्यपाल से मुलाकात कर उन्हें महामारी से निपटने के लिए उठाए गए कदमों की जानकारी दी. शरद पवार कई मौकों पर उद्धव ठाकरे से मातोश्री में मिल चुके हैं. संपादकीय में कहा गया है कि महाराष्ट्र में ये बैठकें नियमित और स्थिर हैं.

बीजेपी को आड़े हाथों लेते हुए संपादकीय में कहा गया है कि महाराष्ट्र में राष्ट्रपति शासन की मांग करने वालों को गुजरात में ऐसी मांग करनी चाहिए, अगर उनमें हिम्मत है. राज्यपाल को ऐसी विपक्षी पार्टी की खिंचाई करनी चाहिए जो कोरोना पर राजनीति कर रही है. उद्धव सरकार ने छह महीने पूरे कर लिए हैं, ये लोग कह रहे थे कि सरकार 11 दिनों तक नहीं चलेगी.

सामना के संपादकीय में लिखा गया कि हमारे पास 170 विधायकों के साथ एक मजबूत सरकार है, अगर यह आंकड़ा 200 हो जाता है तो विपक्ष को हमें भविष्य में दोष नहीं देना चाहिए.