प्रकाश त्रिवेदी की कलम सेमध्य प्रदेश

कैलाश विजयवर्गीय की “भुट्टा” राजनीति

बाढ़ प्रभावितों को बटने वाले गेंहू में मिट्टी की मिलावट से हुई शिवराज की किरकिरी के बीच भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव कैलाश विजयवर्गीय के भुट्टा भोज ने राज वीथिकाओं में सरगर्मी बड़ा दी है। ठेठ मक्का के व्यंजनों का लुफ्त लेने के लिए विजयवर्गीय ने पत्रकारो पार्टी नेताओ विधायको मंत्रियो को बुलाया था। इधर विधानसभा में मायावती प्रकरण पर बसपा और कांग्रेस का हो हल्ला जारी था उधर 74 बंगले में शानदार लान में भाजपाई मक्के के व्यंजन का लुफ्त ले रहे थे और इस भोज के मायने तलाश रहे थे।

गौरतलब है कि विजयवर्गीय अरसे बाद खुलकर लोगो से मिल रहे थे हर आने जाने वाले का स्वागत कर रहे थे। विजयवर्गीय आज विधानसभा में जलवे बिखेरने के बाद सीधे बंगले पर पार्टी की मेजबानी करने पहुँच गए।
मक्का पार्टी में नमकीन और मीठे व्यंजनों के बीच बाबूलाल गौर भी आए और विजयवर्गीय को दूल्हे की संज्ञा से नवाज गए।
यहाँ सरताज सिंह भी थे विजय शाह,लालसिंह आर्य ,रुस्तम सिंह जयंत मलैया भी थे।
मंत्री नहीं बन पाए रमेश मैंदोला, यशपाल सिंह सिसोदिया जसवंत सिंह हाड़ा भी थे।
पार्टी के मीडिया प्रमुख हितेश बाजपेयी और विजेश लुनावत भी मौजूद थे।
कयास लगाय जा रहे कि विजयवर्गीय अपनी ताकत और स्वीकार्यता को नापना चाहते थे। हालाँकि आमतौर पर विजयवर्गीय के यहाँ दावते होती रही है लेकिन इस दावत की टाइमिंग ने इसके राजनीतिक निहितार्थ खड़े किए है।
जानकर बताते है कि जल्द ही अमित शाह की नई टीम घोषित होने वाली है विजयवर्गीय की उसमे भूमिका तय है इस कारण भी इस भोज और भोज में उपस्थित लोगो की चर्चा ज्यादा है।
बहरहाल विजयवर्गीय का “विकल्प” अभियान जारी है यह और बात है कि इस खेल में और एक खिलाड़ी अनिल माधव दवे शामिल हो चुके है।

प्रकाश त्रिवेदी@SamacharLine